गोरखपुर-गोरखपुर में महिला थाना प्रभारी रही डॉ. शालिनी सिंह ने पीआरडी की महिला सिपाही शर्मिला गौतम को जूता पालिश न कराने पर अपमानित करते हुए उसकी पिटाई कराई थी। जब पुलिस अधिकारियों इस मामले को गंभीरता से नहीं लिया तो पीड़िता ने इस मामले में कोर्ट में 156(3) के तहत प्रार्थना पत्र दिया था। कोर्ट ने इसे अपने यहां ही परिवाद के रूप में दाखिल कर लिया था। प्रथम दृष्टया जांच में आरोप सही पाए जाने पर एसीजेएम शिवम कुमार ने परिवाद के रूप में दर्ज 323, 504, 506 की धारा में परीक्षण के लिए तलब किया है।
पीड़िता की अधिवक्ता केवल दुबे ने कहा कि पीड़ित पीआरडी की महिला सिपाही गोरखपुर महिला थाने में तैनात है और अनुसूचित जाति की है। तत्कालीन थाना प्रभारी ने 14 अगस्त 2018 को दिन में 11 बजे महिला कांस्टेबल को बुलाया और 15 अगस्त में पहनने के लिए जूता चमकवा कर लाने को कहा। आरोप है कि पीआरडी की महिला कांस्टेबल ने जूता पालिश कराने से मना कर दिया तो उन्होंने उसे अपमानित किया और धमकी दी। उन्होंने पहरे से लात-घूंसे से पिटाई कराई और रायफल सटाकर गोली मारने की धमकी दी। पीड़िता ने एसएसपी के यहां शिकायत की पर कोई कार्रवाई नहीं हुई।
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